A-Zee of Bhakti (Hindi)

"A-Zee of Bhakti", "A-Z नहीं, A-Z तो गोपी भाव तक होता है",  "A-Zee of Bhakti- "मंजरी" भाव पर्यन्त" | तो जैसे की हम जानते हैं कि जीव के जब अध्यात्मिक पुण्य का संशय होता है, तो उसके उपर भगवद् कृपा विशेष होती है |

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